श्लोक
किं जातैर्ब्रहुभिः पुत्रैः शोकसंतापकारकैः।
वरमेकः कुलालम्बी यत्र विश्रूयते कूलम्।।
श्लोक का अर्थ:
दुख देने वाले, हृदय को...
वरमेकः कुलालम्बी यत्र विश्रूयते कूलम्।।
श्लोक का अर्थ:
दुख देने वाले, हृदय को...