17 views
अब इश्क़ कैसे न हो।।
#linesoflibrary
#RAVINDRA SINGH BORA
उसका दुपट्टा उसके जिस्म से नहीं उसकी रुह से लिपटा है।
सुना तो है कि रंगरेज़ो की गली मे इस बार फिर से अफवाहे फैली है।
अब इश्क़ कैसे ना हो,
उसकी रुह का रंग और गहरा जो होने वाला है।।
A brif note about RANGREZ...
(रंगरेज एक समुदाय है जो कपडा रंगने का काम करता है कहते हैं कि रंगरेजों की गली में जब भी अफवाहें फैलती थी तो कपड़े पर गहरा रंग चढ़ाने के लिए फैलाई जाती थी, इस प्रथा को “पटरंगवाली प्रथा” कहते थे।)
#RAVINDRA SINGH BORA
उसका दुपट्टा उसके जिस्म से नहीं उसकी रुह से लिपटा है।
सुना तो है कि रंगरेज़ो की गली मे इस बार फिर से अफवाहे फैली है।
अब इश्क़ कैसे ना हो,
उसकी रुह का रंग और गहरा जो होने वाला है।।
A brif note about RANGREZ...
(रंगरेज एक समुदाय है जो कपडा रंगने का काम करता है कहते हैं कि रंगरेजों की गली में जब भी अफवाहें फैलती थी तो कपड़े पर गहरा रंग चढ़ाने के लिए फैलाई जाती थी, इस प्रथा को “पटरंगवाली प्रथा” कहते थे।)
Related Stories
13 Likes
3
Comments
13 Likes
3
Comments