भोर का कुंदन
किरण किरण सुनहरी बिखेर रही है जीवन,
फैलाकर आँचल समेट लो ये भोर का कुंदन।
अधिपति तेज के होते प्रकट लेकर पुंज प्रकाश का,
भरते कण कण में...
फैलाकर आँचल समेट लो ये भोर का कुंदन।
अधिपति तेज के होते प्रकट लेकर पुंज प्रकाश का,
भरते कण कण में...