हँ ! तुम ही हो।
ये तुम हो?
हाँ ! तुम्ही हो,
शीतल हवा सी बह,
मन भा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
सुबह की मीठी किरणों सी,
मुझे जगा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
फुलो की महक सी,
साँसो में समा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
मेरे उदास से चेहरे पे,
मुस्कान सी चहक रही हो।
हाँ! तुम्ही हो।
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हाँ ! तुम्ही हो,
शीतल हवा सी बह,
मन भा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
सुबह की मीठी किरणों सी,
मुझे जगा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
फुलो की महक सी,
साँसो में समा रही हो।
हाँ! तुम्ही हो,
मेरे उदास से चेहरे पे,
मुस्कान सी चहक रही हो।
हाँ! तुम्ही हो।
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