रांन्गनंबर
#रॉन्गनंबर
बड़ी ज़ोर की बारिश हो रही थी। आसमान में बिजली कड़कड़ा रही थी पर घर पर बिजली गुल थी। तभी फोन की घंटी बजी और जीत ने रिसीवर उठा के कहा हैलो, कौन है? उधर से आवाज़ आई ओह, सॉरी, रॉन्ग नंबर, और फोन रख दिया गया। जीत को दो साल पहले की वो तूफानी रात याद आ गई। उस दिन भी तो ऐसे ही एक काल आया था और ओ उस याद में खो जाता है उस दिन जब ओ आसमान में बादलों को देख रहा था तभी घंटी बजी तो वह दौड़कर गया और काल उठाया पूछा कौन उधर से एक प्यारी सी आवाज आई साॅरी रांगनंबर पर आवाज इतना मधुर था की जीत की मानों सांसे तेज हो गयी हों वो उसमे खो सा गया हो उधर से फिर आवाज़ आयी ओ हेलो! क्या हुआ अचानक खुद को सम्हालते हुए जीत ने कहा कुछ नहीं जी आपकी आवाज इतनी क्यूट है कि क्या बताऊं।
लड़की ने कहा थैंक्स,
जीत बोला क्या मैं आपका नाम जान सकता हूं ?लड़की बोली क्यों नहीं ।
तो बतायिये न जीत प्यार भरे अंदाज में बोला।
उसने भी इठलाते हुए कहा सिमरन।
जीत बोला बड़ा प्यारा नाम है आपका,
उसने कहा थैंक्स वैसे आपका क्या नाम है जीत ने कहा वैसे मेरा नाम प्रीतम हैं पर घर वाले प्यार से जीत बुलाते हैं मुझे।
सिमरन भी हंसते हुए मजाकिया अंदाज में बोली तो क्या मैं भी इस खूबसूरत लडके को जीत बुला सकती हूं।
जीत थोड़ा शर्माते हुए बोला हां क्यों नहीं, ये कहते ही दोनों हंस पड़े।
बात काफी आगे बढ़ी और एक अंजान नंबर से आये काल पर लगभग दो घंटे बात चली दोनों ने काफी सारी बातें की जीत ने पूछा आप कहां रहती हो।
तो सिमरन ने कहा आज ही सारा जान लोगे क्या?
जीत नहीं पर पता नहीं कर फोन न आये तो ?
सिमरन बोली अरे मैं जरुर फोन करुंगी ।
तो फिर आज से हम फ्रेंड जीत बोला ,
हां ज़रूर आज से हम फ्रेंड तभी सिमरन बोली अच्छा मेरी मम्मी आ गयी है मैं कल फोन करती हूं शाम चार बजे ठीक याद रहेगा न और हां तुम काल मत करना मैं ही करुंगी ओके ।
हां ज़रूर मुझे इंतज़ार रहेगा जीत बोला फिर उसने बाय बोलके फोन काट दिया।
अब इधर जीत को तो मानो स्वर्ग मिल गया हो मन हजारों खुशी के लड्डू फ़ूटने लगे थे पूरा दिन खुशी का माहौल घर वाले जो काम...
बड़ी ज़ोर की बारिश हो रही थी। आसमान में बिजली कड़कड़ा रही थी पर घर पर बिजली गुल थी। तभी फोन की घंटी बजी और जीत ने रिसीवर उठा के कहा हैलो, कौन है? उधर से आवाज़ आई ओह, सॉरी, रॉन्ग नंबर, और फोन रख दिया गया। जीत को दो साल पहले की वो तूफानी रात याद आ गई। उस दिन भी तो ऐसे ही एक काल आया था और ओ उस याद में खो जाता है उस दिन जब ओ आसमान में बादलों को देख रहा था तभी घंटी बजी तो वह दौड़कर गया और काल उठाया पूछा कौन उधर से एक प्यारी सी आवाज आई साॅरी रांगनंबर पर आवाज इतना मधुर था की जीत की मानों सांसे तेज हो गयी हों वो उसमे खो सा गया हो उधर से फिर आवाज़ आयी ओ हेलो! क्या हुआ अचानक खुद को सम्हालते हुए जीत ने कहा कुछ नहीं जी आपकी आवाज इतनी क्यूट है कि क्या बताऊं।
लड़की ने कहा थैंक्स,
जीत बोला क्या मैं आपका नाम जान सकता हूं ?लड़की बोली क्यों नहीं ।
तो बतायिये न जीत प्यार भरे अंदाज में बोला।
उसने भी इठलाते हुए कहा सिमरन।
जीत बोला बड़ा प्यारा नाम है आपका,
उसने कहा थैंक्स वैसे आपका क्या नाम है जीत ने कहा वैसे मेरा नाम प्रीतम हैं पर घर वाले प्यार से जीत बुलाते हैं मुझे।
सिमरन भी हंसते हुए मजाकिया अंदाज में बोली तो क्या मैं भी इस खूबसूरत लडके को जीत बुला सकती हूं।
जीत थोड़ा शर्माते हुए बोला हां क्यों नहीं, ये कहते ही दोनों हंस पड़े।
बात काफी आगे बढ़ी और एक अंजान नंबर से आये काल पर लगभग दो घंटे बात चली दोनों ने काफी सारी बातें की जीत ने पूछा आप कहां रहती हो।
तो सिमरन ने कहा आज ही सारा जान लोगे क्या?
जीत नहीं पर पता नहीं कर फोन न आये तो ?
सिमरन बोली अरे मैं जरुर फोन करुंगी ।
तो फिर आज से हम फ्रेंड जीत बोला ,
हां ज़रूर आज से हम फ्रेंड तभी सिमरन बोली अच्छा मेरी मम्मी आ गयी है मैं कल फोन करती हूं शाम चार बजे ठीक याद रहेगा न और हां तुम काल मत करना मैं ही करुंगी ओके ।
हां ज़रूर मुझे इंतज़ार रहेगा जीत बोला फिर उसने बाय बोलके फोन काट दिया।
अब इधर जीत को तो मानो स्वर्ग मिल गया हो मन हजारों खुशी के लड्डू फ़ूटने लगे थे पूरा दिन खुशी का माहौल घर वाले जो काम...