दो दिलों का प्यार ( भाग-18 )
दो सप्ताह कैसे बीत जाते है पता ही नही चलता, अब कभी भी डॉक्टर का कॉल आ सकता है अंजलि के इलाज के लिए। उसी रात को करीब 8:00 बजे प्रेम के पास उस डॉक्टर का कॉल आता है उन्होंने अंजलि को सुबह बुलाने के लिए कॉल किया था, प्रेम तुम कल अंजलि को लेकर आ जाना, और जो फ़ाइल मैंने तुमकों दी थी वो लेकर आ जाना। इसके बाद जैसे ही प्रेम अंजलि को कॉल करता है उसके पास अंजलि की कॉल आ जाती है। वो दोनों एक दूसरे को इतने कम समय में बहुत अच्छी तरह जानने लगे थे, दिन ब दिन प्रेम का प्यार अंजलि के लिये बढ़ता ही जा रहा था। क्या कर रहे हो प्रेम, तुम कुछ बोलते क्यों नही ? बोल नही रहा तो सुन...