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गलत कौन
भगवान बुद्ध और महात्मा गांधी आम लोगों के बीच अहिंसा का प्रचार करते थे। महात्मा गांधी ने एक बार कहा था कि जब कोई आपको थप्पड़ मारता है तो आप जवाबी कार्रवाई करने के बजाय आप अपना दूसरा गाल भी आगे कर दें। महात्मा गांधी प्रत्येक के भीतर वास करने वाले ईश्वर में दृढ़ता से विश्वास करते थे। उनका मानना था यदि आप अपने स्वयं के अहिंसक विश्वासों में विश्वास करते हैं तो आप अपने विरोधी को मित्र में बदल सकते हैं।

उनकी सत्य और अहिंसा की वाही नीति थी, जिसने पूरी भारतीय आबादी को झकझोर कर रख दिया और अंततः उन्होंने भारत की स्वतंत्रता के आन्दोलन का नेतृत्व किया। भगवान बुद्ध और गांधी जी नक्शे कदम पर चलना आज भी प्रासंगिक है? क्या दयालु और करुणावान बनकर आज भी किया जा सकता है ?

गौतम बुद्ध ने दिखाया कि कैसे प्रेम, दया और अहिंसा का मार्ग किसी व्यक्ति के हृदय को बदल सकता है। अंगुलिमाल एक क्रूर डाकू था। वह घने जंगल में रहता था और सभी आने जाने वालों को आतंकित किया करता था। वह अपने वन क्षेत्र में आने वाले सभी लोगों को लूटता था, और उन्हें मारकर उनकी उंगली काटकर माला में डाल देता था। उसके भय से लोगों ने उस क्षेत्र में यात्रा करना बंद कर दिया था ।

जब भगवान बुद्ध ने यह...