...

5 views

शायद होली आ रही है .......
पिछले साल मैंने रंग लगाया था उसके गालों में ,
शायद उससे मुलाकात हुई थी सालो में ।

ये कैसी होली है आई इस बार ,
जीवन में सिर्फ उदासी छाई है इस बार ।

याद उसकी आ रही है ,
शायद होली आ रही है ।

आंखों में नमी छा रही है ,
शायद होली आ रही है ।

रंगो से होने लगी है नफरत ,
शायद होली आ रही है ।
© Azaad Parinda