प्यार
कहीं जलती धूप, कहीं राहत की छाँव है प्यार,
कभी ढलती शाम, कभी नई सुबह की पत्तों पर गिरी...
कभी ढलती शाम, कभी नई सुबह की पत्तों पर गिरी...