इबादत.....✍
लिखता हूँ जो भी अल्फ़ाज़,
कागज़ पे तेरे नाम से,
हर अल्फ़ाज़ को, इस बन्दे की,
बन्दगी तू समझना,
ये ज़माना मेरे बारे में,
सोचे कहे कुछ भी,
पर मेरे...
कागज़ पे तेरे नाम से,
हर अल्फ़ाज़ को, इस बन्दे की,
बन्दगी तू समझना,
ये ज़माना मेरे बारे में,
सोचे कहे कुछ भी,
पर मेरे...