शायद..
काश वो होता अगर,
तो सब कुछ पा लेते हम भी..शायद।
वो रोता जब भी अगर,
तो पलकों से आँसू छिपाते हम भी..शायद।
वो हसता जब भी अगर,
तो दिल से मुस्करा देते हम भी..शायद।
वो बोलता जब जब,
तो बात नहीं बातें किया करते हम भी..शायद।
वो रूठता जब भी अगर,
तो बार...
तो सब कुछ पा लेते हम भी..शायद।
वो रोता जब भी अगर,
तो पलकों से आँसू छिपाते हम भी..शायद।
वो हसता जब भी अगर,
तो दिल से मुस्करा देते हम भी..शायद।
वो बोलता जब जब,
तो बात नहीं बातें किया करते हम भी..शायद।
वो रूठता जब भी अगर,
तो बार...