6 views
ख़ुशियों का गल्ला
खाली है मन,
निढाल है तन।
इच्छाशक्ति पर मेरी,
तंज कसा गया है जबसे,
खुलती जा रही है,
तह दर तह, रंजिश उनकी।
आए कोई खोले, फिर
गल्ला, ख़ुशियों का।
ले जाए, परे, मुझे, मुझसे।
सिखाए, जीने का नया तरीका।
दिखाए, पीने का नया नतीजा।
बैठ जाये, सीने से लगाके,
भूलना सिखाए, दर्द भरी रातें,
जिनका अंत, आता नहीं।
© All Rights Reserved
निढाल है तन।
इच्छाशक्ति पर मेरी,
तंज कसा गया है जबसे,
खुलती जा रही है,
तह दर तह, रंजिश उनकी।
आए कोई खोले, फिर
गल्ला, ख़ुशियों का।
ले जाए, परे, मुझे, मुझसे।
सिखाए, जीने का नया तरीका।
दिखाए, पीने का नया नतीजा।
बैठ जाये, सीने से लगाके,
भूलना सिखाए, दर्द भरी रातें,
जिनका अंत, आता नहीं।
© All Rights Reserved
Related Stories
17 Likes
6
Comments
17 Likes
6
Comments