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यारी
रंगबिरंगे फूलों की क्यारी,दोस्तों की खूबसूरत यारी।
खट्टा मीठा सा एहसास दिलाती,जीवन के हर मोड़ पर यारी।
रूठती मनाती , साथ खिलखिलाती,
भटके यार गर तो राह दिखलाती, होती ऎसी सच्ची यारी।
हंसते को रुलाती ये,रोते को हंसाती है,
हाथ न छोड़े यार का कभी हर पल साथ निभाती है।
संग मिल खेले ,संग मिल घूमे, बात न कभी छुपाती है,
साथ निभाने का ऐसा वादा जीवन भर कर जाती है।
समय का पहिया घूमा ऐसा, दोस्ती के भी कायदे बदले,
गले में हाथ डाल घूमते थे जो,दुश्मनी की राह में निकले।
बदल चुकी परिभाषा मित्र की, यारी केवल मतलब की रहती,
हर रिश्ते में थी जो दोस्ती, तनिक बात पर आज बिदकती।
न जाने क्या हुआ इसे , दोस्ती के मायने हैं बदले,
कभी प्रेम बोहोत था जिनमें आज स्वार्थ का भाव हैं रखते।
रंगबिरंगे यारों की क्यारी ,बड़ी उदासी छाई है,
कमी पड़ी पानी (चमक) की शायद, कैसे ये मुरझाई है।
आओ प्रेम विश्वास का मिलकर ऊर्वरक हम डाले इसमें,
गलत फहमी के कांटे को निकाल फेंके इक पल में।
नई उत्साह का संचार लिए दोस्ती की बगिया खिलाएं फिर से
मित्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं आप सभी को मेरी ओर से।💐💐💐💐💐
Glory❤️
© All Rights Reserved
खट्टा मीठा सा एहसास दिलाती,जीवन के हर मोड़ पर यारी।
रूठती मनाती , साथ खिलखिलाती,
भटके यार गर तो राह दिखलाती, होती ऎसी सच्ची यारी।
हंसते को रुलाती ये,रोते को हंसाती है,
हाथ न छोड़े यार का कभी हर पल साथ निभाती है।
संग मिल खेले ,संग मिल घूमे, बात न कभी छुपाती है,
साथ निभाने का ऐसा वादा जीवन भर कर जाती है।
समय का पहिया घूमा ऐसा, दोस्ती के भी कायदे बदले,
गले में हाथ डाल घूमते थे जो,दुश्मनी की राह में निकले।
बदल चुकी परिभाषा मित्र की, यारी केवल मतलब की रहती,
हर रिश्ते में थी जो दोस्ती, तनिक बात पर आज बिदकती।
न जाने क्या हुआ इसे , दोस्ती के मायने हैं बदले,
कभी प्रेम बोहोत था जिनमें आज स्वार्थ का भाव हैं रखते।
रंगबिरंगे यारों की क्यारी ,बड़ी उदासी छाई है,
कमी पड़ी पानी (चमक) की शायद, कैसे ये मुरझाई है।
आओ प्रेम विश्वास का मिलकर ऊर्वरक हम डाले इसमें,
गलत फहमी के कांटे को निकाल फेंके इक पल में।
नई उत्साह का संचार लिए दोस्ती की बगिया खिलाएं फिर से
मित्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं आप सभी को मेरी ओर से।💐💐💐💐💐
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