...

4 views

डर्टी पॉलिटिक्स
चुनाव के नाव में सवार दल
दलदल के साथ दल बदलकर गुज़रे

देखें होंगे आपने भी ऐसे मुजरे

ये भारत देश के दोगले नेताओं की
दोगली राजनीति है

माँगते जनता से भीख वोट की
बिक जाते हैं दल बदल कर
जब खुशबू आती है नये नये नोट की

कभी दूसरे से एक तो कभी एक से दूसरे
दलदल के साथ दल बदल कर गुजरे

लोक तांत्रिक संवैधानिक
मूल्यों का हनन इनका मूलमंत्र है

ग़रीबी से त्रस्त ,लुटेरे लूट में मस्त

बेरोज़गारी महंगाई ,भ्रष्टाचार

चुनाव का संकल्प पत्र है

बजट दिखाकर इस सत्र का उस सत्र में

ज़मीनी हकीकत धरातल में है

राजनेताओं का चलते रहता ,बदलते रहता
झूठ और लूट का सत्र है

चुनाव के नाव में सवार दल
दलदल के साथ दल बदलकर गुज़रे

देखें होंगे आपने भी ऐसे मुजरे

© 𝓴𝓾𝓵𝓭𝓮𝓮𝓹 𝓡𝓪𝓽𝓱𝓸𝓻𝓮