"बचपन"
यूँ तो बचपन सभी का बेस्ट मोमेंट्स से भरा होता है,
लेकिन जब बचपन से युवावस्था में आते है
तो वही बचपन सबसे बुरा लगने लगता है |
क्यूंकि वो फिर कभी लौट नहीं आता|
हम चाह के भी उन दोस्तों से मिल नहीं पाते|
उन यादों को फिर से जी नहीं पाते,
सब अपनी दुनिया बनाने में उस दुनिया को भूल जाते है |
जहां ज़िन्दगी की असल खुशी मिली थी,
जिसमें कोई स्वार्थ नहीं,
सिर्फ प्रेम ही प्रेम|
एक दूसरे की फिक्र,
जज़्बात समझे जाते थे,
हर...
लेकिन जब बचपन से युवावस्था में आते है
तो वही बचपन सबसे बुरा लगने लगता है |
क्यूंकि वो फिर कभी लौट नहीं आता|
हम चाह के भी उन दोस्तों से मिल नहीं पाते|
उन यादों को फिर से जी नहीं पाते,
सब अपनी दुनिया बनाने में उस दुनिया को भूल जाते है |
जहां ज़िन्दगी की असल खुशी मिली थी,
जिसमें कोई स्वार्थ नहीं,
सिर्फ प्रेम ही प्रेम|
एक दूसरे की फिक्र,
जज़्बात समझे जाते थे,
हर...