" मां के लिए पैगाम ले जाओ "
बहती हवाओं गाँव बैठी माँ के लिए पैगाम ले जाओ,
कर्ज़ चुका चले उसके लाल चरणों में सलाम ले जाओ।
गम न करे माँ कहना लाल ने सीने पे गोली खायी है,
छाती तान कर किया युद्ध भारत की लाज बचाई है,
होगा यकीन खून से लिपटी मिट्टी में अंजाम ले जाओ।
लाल जोड़े में सजी हुई कहीं मेरी सुहागन बैठी होगी,
पत्नी बच्चों...
कर्ज़ चुका चले उसके लाल चरणों में सलाम ले जाओ।
गम न करे माँ कहना लाल ने सीने पे गोली खायी है,
छाती तान कर किया युद्ध भारत की लाज बचाई है,
होगा यकीन खून से लिपटी मिट्टी में अंजाम ले जाओ।
लाल जोड़े में सजी हुई कहीं मेरी सुहागन बैठी होगी,
पत्नी बच्चों...