...

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साझा part १
जीवनसाथी जो साथ निभाए
जो सुख दुख में साथ रहे
मेरे सब अवगुण तुम अपनाओ
तुम्हारे सारे दोष मेरे सिरहाने
साथ मिलकर साझा करेंगे
प्यार के रोज बनेंगे अफसाने
कभी मेरी रोटी जली तो
थोड़ा बहुत झगड़ा कर लेना
कोई भी बात अपने मन में न रखना
जो भी हो खुल कर बोल देना
कोशिश करूंगी तुम्हारी उम्मीदों पर
खरी उतर सकूं जो अगर
तुम भी थोड़ा बहुत मेरे मन के
अनुसार चल लेना
दोनो मिलकर संभाल लेंगे
थोड़ी धूप और थोड़ी छांव
चाहे मुझको लाख डांटो
पर बीच राह मेरा हाथ ,तुम कभी न छोड़ देना
तुम्हारा परिवार अब से मेरा होगा
तुम्हारे रिश्ते अब होंगे मेरे
तुम भी थोड़ा मेरे परिवार को
होसके तो अपना समझ लेना
बेटे की जगह नहीं लेना हो अगर
बस एक अच्छा दामाद ही बन लेना

© Seema Ke Alfaaz