लिखते है
कुछ अंदाज़ अपने लिखते है,
बगेर दुनिया के ख्वाब लिखते है.
मुलाकात की इस दुनिया मे अंजान की कहानी लिखते है.
हर चीज पूरी होने वाली इस दुनिया मे अधूरी हमारी कहानी लिखते है.
इस शौर की दुनिया मे खामोशी लिखते है.
असली खुशी क्या है इसे अंजान रहते है,
कुछ कहो अपना, तो अपनी बात कहते है,
मतलब की इस दुनिया मे बिन मतलब की आस रखते है|
बगेर दुनिया के ख्वाब लिखते है.
मुलाकात की इस दुनिया मे अंजान की कहानी लिखते है.
हर चीज पूरी होने वाली इस दुनिया मे अधूरी हमारी कहानी लिखते है.
इस शौर की दुनिया मे खामोशी लिखते है.
असली खुशी क्या है इसे अंजान रहते है,
कुछ कहो अपना, तो अपनी बात कहते है,
मतलब की इस दुनिया मे बिन मतलब की आस रखते है|
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