...

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निखर जायेगा
कर अगवानी सूरज की,
फिर बंदे तु निखर जाएगा ।
कर फिकर ना दुनियाँ की
वादों से जहाँ मुकर जायेगा ।

तुम हो तेजस धीर गंभीर
और वीर हो, सूर्य पुत्र हो ।
तेज समान तुम ही सर्वत्र हो,
तुमसा कोई न कहीं अन्यत्र हो ।

उठ...