अपना बचपन.....
सुंदर चितवन,
तीव्र पवन- सा
चेतन ये मन।
प्रकृति को करे
बन्द खुद में,
झपक- झपक ये नयन।...
तीव्र पवन- सा
चेतन ये मन।
प्रकृति को करे
बन्द खुद में,
झपक- झपक ये नयन।...