नई ग़ज़ल
दिल उसे दे दिया रवानी में
काम बिगड़ा है जल्दबाज़ी में
उस से मै इस तरह से मिलता हूं
रंग घुलता है जैसे पानी में
वो जो बदला तो ये कहकर बदला
कुछ नहीं मुस्तक़िल ...
काम बिगड़ा है जल्दबाज़ी में
उस से मै इस तरह से मिलता हूं
रंग घुलता है जैसे पानी में
वो जो बदला तो ये कहकर बदला
कुछ नहीं मुस्तक़िल ...