52 views
बस जज़्बात लिखती हूं
शायर नहीं हूं फिर भी शायरी लिखती हूं,
कवि नहीं हूं फिर भी कविता करती हूं।
लेखिका नही हूं फिर भी कहानियां बुनती हूं,
जज़्बाती हूं इसलिए बस जज़्बात लिखती हूं।
हर दर्द को अलफ़ाज़ के मोतियों में पिरोती हूँ,
समेटकर हर लफ़्ज़ों को किताबों में रखती हूं।
©हेमा
कवि नहीं हूं फिर भी कविता करती हूं।
लेखिका नही हूं फिर भी कहानियां बुनती हूं,
जज़्बाती हूं इसलिए बस जज़्बात लिखती हूं।
हर दर्द को अलफ़ाज़ के मोतियों में पिरोती हूँ,
समेटकर हर लफ़्ज़ों को किताबों में रखती हूं।
©हेमा
Related Stories
98 Likes
33
Comments
98 Likes
33
Comments