...

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प्रेम का पर्याय तुम
जितना जाना, जितना समझा
उतना ही मैं तेरा होता गया
जितना खोजा, उतना है पाया
तुमसे सीखा किसी का होना ।।

नम 'आँखों' कि नमी चुरा कर
फ़िर से हँसी उनमें भर देना है
एहसास लबों के बोल ना पाए
हर...