कैसी होती है बेटीयां
माँ - पापा की लाडली होती है बेटीयां
दादू - दादी की गुड़िया होती है बेटीयां
ठुमकती-नाचती- मुस्कराती है बेटीयां
घर की मानो खुशियां होती हैं बेटी
किस्मत वाले होते हैं लोग जिनके घर
लक्ष्मी बन कर आती हैं बेटीयां
बचपन तो खुशियों का समंदर होता है पर
क्यों मरुस्थल पर जीवन भर चलती है बेटीयां
सपने तो उनकी आंखें भी देखती हैं
पर सब चुपचप क्यों दिल में दबा लेते हैं बेटीयां
कभी किसी के लिए तो कभी किसी के लिए
क्यों अपनी खुशियां भूल जाती हैं बेटीयां
तितली सी उड़ान भरना सपना होता है मगर
पंख कटी घायल तितली सी जीती है बेटीयां
यो तो रोशनी से दुनिया जगमग है मगर
आज भी क्यों अंधेरो से झूझती है बेटीयां
© Munni Joshi
दादू - दादी की गुड़िया होती है बेटीयां
ठुमकती-नाचती- मुस्कराती है बेटीयां
घर की मानो खुशियां होती हैं बेटी
किस्मत वाले होते हैं लोग जिनके घर
लक्ष्मी बन कर आती हैं बेटीयां
बचपन तो खुशियों का समंदर होता है पर
क्यों मरुस्थल पर जीवन भर चलती है बेटीयां
सपने तो उनकी आंखें भी देखती हैं
पर सब चुपचप क्यों दिल में दबा लेते हैं बेटीयां
कभी किसी के लिए तो कभी किसी के लिए
क्यों अपनी खुशियां भूल जाती हैं बेटीयां
तितली सी उड़ान भरना सपना होता है मगर
पंख कटी घायल तितली सी जीती है बेटीयां
यो तो रोशनी से दुनिया जगमग है मगर
आज भी क्यों अंधेरो से झूझती है बेटीयां
© Munni Joshi