Best Friend की शादी
ये कविता उनके लिए
जिनकी
Best Friend की शादी होने वाली है...
प्रिय सखी कंचन
आज तेरी शादी पर तुझे कुछ किस्से याद दिलाती हूँ
अपनी यारी के महल में तेरी दोबारा सैर कराती हूँ
हम दोस्त कैसे बने कुछ याद है ,
मुझे तो याद नही
आने आप सब होता गया
पीछे मुड़ के फिर देखा नहीं
छोटे से थे हम ,हमारी पहली मुलाक़ात में
उम्र कच्ची थी मगर दोस्ती पक्की हुई थी
तब लगा नही था
हम ऐसे बंध जाएंगे दोस्ती के रिश्ते में
यूँ ही लड़ते -झगड़ते ,खट्टी -मीठी यादों का सफर कितनी जल्दी तय हो गया ना
हम कब एक दूसरे को इतना...
जिनकी
Best Friend की शादी होने वाली है...
प्रिय सखी कंचन
आज तेरी शादी पर तुझे कुछ किस्से याद दिलाती हूँ
अपनी यारी के महल में तेरी दोबारा सैर कराती हूँ
हम दोस्त कैसे बने कुछ याद है ,
मुझे तो याद नही
आने आप सब होता गया
पीछे मुड़ के फिर देखा नहीं
छोटे से थे हम ,हमारी पहली मुलाक़ात में
उम्र कच्ची थी मगर दोस्ती पक्की हुई थी
तब लगा नही था
हम ऐसे बंध जाएंगे दोस्ती के रिश्ते में
यूँ ही लड़ते -झगड़ते ,खट्टी -मीठी यादों का सफर कितनी जल्दी तय हो गया ना
हम कब एक दूसरे को इतना...