पालकी पे होके सवार आई रे
पालकी में होके सवार आई रे
मेरी माता मेरे हैं द्वार आई रे
सोलह श्रृंगार मैं तो कर आई रे
माता मेरी गणपतिजी के
साथ आई रे
पालकी में होके सवार आई रे
मेरी .......
कोई टीका सजावे
कोई कुंडल पहनावे
माथे की बिंदिया माँ के
मन भाइ रे
नाक की नथनी माँ के
मन भाइ रे
पालकी में होके सवार आई रे
पालकी में होके सवार आई रे
मेरी माता.....
कोई नौ लखा हार चढ़ावे
कोई हीरे जवाहरातचढ़ावे
हीरे...
मेरी माता मेरे हैं द्वार आई रे
सोलह श्रृंगार मैं तो कर आई रे
माता मेरी गणपतिजी के
साथ आई रे
पालकी में होके सवार आई रे
मेरी .......
कोई टीका सजावे
कोई कुंडल पहनावे
माथे की बिंदिया माँ के
मन भाइ रे
नाक की नथनी माँ के
मन भाइ रे
पालकी में होके सवार आई रे
पालकी में होके सवार आई रे
मेरी माता.....
कोई नौ लखा हार चढ़ावे
कोई हीरे जवाहरातचढ़ावे
हीरे...