तेरी बात
दिल की सरहदों पर तेरी बात ठहर गई।
चुप थी हवाएं, मगर आवाज़ बिखर गई।
आँखों ने पढ़ा जो लम्हों की जुबाँ से,
ख़्वाबों की बस्ती वहीं आज संवर गई।
तेरे ...
चुप थी हवाएं, मगर आवाज़ बिखर गई।
आँखों ने पढ़ा जो लम्हों की जुबाँ से,
ख़्वाबों की बस्ती वहीं आज संवर गई।
तेरे ...