गज़ल- ऐसी मेरी ज़िंदगी चल रही है।
#TimeFlies
रुक-रुक के जैसे, घड़ी चल रही है।
ऐसी मेरी, ज़िंदगी चल रही है।
मोहब्बत इसको कहना, गलत है तुम्हारा
उसकी मेरी, बंदगी चल रही है।
तुम बुलाते नहीं हो, हम आते नहीं हैं
जानें कबसे यही, बेबसी चल रही है।
बिछड़कर ना पूछो, हालत तुम हमारी
धीरे-धीरे, खुदकुशी चल रही है।
कैसी है अब, ज़िंदगी क्या बताएं
कुछ है गलत, कुछ सही चल रही है।
© वरदान
रुक-रुक के जैसे, घड़ी चल रही है।
ऐसी मेरी, ज़िंदगी चल रही है।
मोहब्बत इसको कहना, गलत है तुम्हारा
उसकी मेरी, बंदगी चल रही है।
तुम बुलाते नहीं हो, हम आते नहीं हैं
जानें कबसे यही, बेबसी चल रही है।
बिछड़कर ना पूछो, हालत तुम हमारी
धीरे-धीरे, खुदकुशी चल रही है।
कैसी है अब, ज़िंदगी क्या बताएं
कुछ है गलत, कुछ सही चल रही है।
© वरदान