...

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बैठो मेरे रूबरू
बैठो मेरे रूबरू
चलो कुछ बातें करते है ।

साँसों में अपनी महसूस कर लो मुझे
चलो तुम्हारे साथ बैठ कर आँहे भरते है ।

इश्क का दस्तूर है आंसुओ मे भीगने का
तो चलो अपने आँसुओ से तुमको भींगा भी देते हैं ।

प्यार कि दो बात तुम करो
प्यार कि दो बात मैं करूँ
चलो इस दिन को मधुर बेला ही बना देते हैं ।

© AnJaLi singh