...

3 views

इश्क इबादत - 9
विश्वास ने जब वैष्णवी को खींचा अपनी तरफ तो वैष्णवी लगभग विश्वास की बाहों में थी। हम्म! लगभग आप सब सोच रहे होंगे की लगभग बांहों में होना क्या होता है या तो होंगे या नहीं होंगे। मगर कभी कभी स्थिति बीच की हो जाती है आप इतने करीब होते है की सामने वाले की सांसे गिन ले मगर बांहों में नही होते। उफ्फ ये इश्क और इसके कायदे अजी काहे के कायदे। जिंदगी अगर...