(प्यार मे छल)- part 1
निकिल ,रंग-सांवला ,कदकाटी छोटा , पतला -दूबला शरीर।उसकी उम्र लगभग 24या25 का रहा होगा। अपने परिवार के साथ वह खुशी से रहता था। उसे पढ़ाई करने मे जरा भी मन नही लगता था शायद इसलिए जैसे -तैसे वह सिर्फ इटंर ही कर पाया।
उसी के मौहल्ले मे ब्रजेश नाम का एक आदमी रहता था। छोटा कद पर जटिल जैसा शरीर ,आंखो मे हर पल क्रोध रहता था। वह डेयरी का व्यासाय करता था। मोहल्ले मे सभी उससे डरते थे शायद इसलिए मोहल्ले मे उसकी दबदबा रहती थी।
एक दिन की बात है,ब्रजेश के बड़े साले अपनी बेटी प्रीटी की ग्रेजोएशन की पढ़ाई के लिए उसके घर भेजा दिया।
निकिल को पहली नजर मे ही प्रीटी से प्यार हो गया। उसके बाद तो मानो उसकी पूरी जिंदगी ही बदल गई थी। उसके एक झलक पाने के लिए प्रत्येक दिन उसके घर के बाहर घंटो घूमता रहता था। हमेशा साधारण सा रहने वाला निकिल प्रत्येक दिन नए -नए पहनकर , सज -दजकर रहता था।
उसका प्रिति के प्रति प्यार सच्चा था पर शायद वो उससे प्यार नही करती थी इसलिए उसे भाव तक नही देती थी।
next part come soon.
© suryansh
उसी के मौहल्ले मे ब्रजेश नाम का एक आदमी रहता था। छोटा कद पर जटिल जैसा शरीर ,आंखो मे हर पल क्रोध रहता था। वह डेयरी का व्यासाय करता था। मोहल्ले मे सभी उससे डरते थे शायद इसलिए मोहल्ले मे उसकी दबदबा रहती थी।
एक दिन की बात है,ब्रजेश के बड़े साले अपनी बेटी प्रीटी की ग्रेजोएशन की पढ़ाई के लिए उसके घर भेजा दिया।
निकिल को पहली नजर मे ही प्रीटी से प्यार हो गया। उसके बाद तो मानो उसकी पूरी जिंदगी ही बदल गई थी। उसके एक झलक पाने के लिए प्रत्येक दिन उसके घर के बाहर घंटो घूमता रहता था। हमेशा साधारण सा रहने वाला निकिल प्रत्येक दिन नए -नए पहनकर , सज -दजकर रहता था।
उसका प्रिति के प्रति प्यार सच्चा था पर शायद वो उससे प्यार नही करती थी इसलिए उसे भाव तक नही देती थी।
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