इश्क इबादत -५
रात भी कभी कभी गुजारे नहीं गुजरती। हृदय पहली बार प्रेम में हो तो रात्रि के पहरों का हिसाब रखना कठिन हो जाता हैं, और भोर के स्वागत की उत्सुकता तो अपने चरम पर होती।एक बेख्याली का आलम हर वक्त आपको घेरे होता है। कुछ यही बेचैनी और यही बेख्याली वैष्णवी को भी हो रही थी। प्रेम में प्रेम हो जाने का अहसास हो जाना आपकी स्थिति को...