जहां चाह है वहां राह है 😸
एक बार की बात है ।एक आदमी अपने समस्याओं से बहुत परेशान था ।उसको पता चला, उसके पास के गांव में ही एक साधु रहते है।वो हर समस्याओं का निवारण करते है।यह सोच के वह आदमी उनके पास अपनी सारी समस्याएं लेकर के गया।कहा- " प्रणाम गुरु जी! मेरे सारे कष्टों को दूर कीजिए।"गुरु जी - "खुश रहो बालक! बोलो! तुम्हे क्या समस्या है।" तो वो आदमी अपने जीवन की हर एक तकलीफ सुनने बैठ गया।वो बोले जा रहा था ,तो गुरु जी केवल सुने जा रहे थे।आदमी ने कहा- "वैसे तो और भी दुख है, लेकिन पहले आप इन जरूरी दुखो का कुछ निवारण कर दीजिए।" गुरु जी बोले - "मुझे पता है ,तुम्हारे सभी कष्टों का हाल हो जाएगा। किंतु? । " आदमी बोला- "किन्तु क्या? गुरु जी।"किन्तु तुम्हे यह घड़ा जो कि आधा फूटा है ,उसे भरना होगा।"
आदमी ने बोला -"मज़ाक करते हो!गुरु जी! आधे घड़े को कोई भी नहीं भर सकता ,जो पानी डालूंगा वो सारा पानी निकल ही जाएगा, तो पानी अंदर नहीं जाएगा।" गुरु जी...
आदमी ने बोला -"मज़ाक करते हो!गुरु जी! आधे घड़े को कोई भी नहीं भर सकता ,जो पानी डालूंगा वो सारा पानी निकल ही जाएगा, तो पानी अंदर नहीं जाएगा।" गुरु जी...