उसे एक नाम चाहिए है तो क्या नाम देना सही होगा।।
जैसा कि हम सब जानते हैं कि श्रृष्टि एक मात्र साधन है , अपने कर्म को पूरा करने का, यहां किसी का कोई महत्व नहीं है, सिर्फ उसके पैसों का महत्व है। यदि आप के पास धन है तो सारा जग आप को पूछे गा और यदि आप निर्धन है तो आपकी तुलना एक कागज के टुकड़े के भाव से भी कम मानी जाएगी। और इस दुनिया में प्यार करना बहुत छुटी बात मगर प्रेम करना एक बहुत बड़ी सपथ है।।
और रही बात गाथा में नाम दर्ज होने की तो ये तो सब चाहाते है मगर सफल कोई नहीं होता है।।
और जब तक श्रृष्टि यह समझती है तब बहुत देर हो चुकी होती है। और कहानी के अनुसार सार नाम नायिकाएं ही नहीं सब पाना चाहते हैं मगर इसके लिए त्याग, संघर्ष, पीड़ा और ठोकर कोई नहीं खाना चाहता इसलिए भी यह गाथा पूर्ण नहीं हो रही क्योंकि समर्पण प्राप्त नहीं हो रहा है और समय चलता जा रहा है और कालचक्र भी प्रभावित नहीं हो रहा है।। नाम देना सही है या गलत यह तो कहना ज़रा भी मुश्किल नहीं होगा यह पंक्ति दोनो जाति के कही है।। क्यों कहा गया होगा आइए जानते हैं -नाम दिया जाता है या कमाया जाता है।।
#नाम
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और रही बात गाथा में नाम दर्ज होने की तो ये तो सब चाहाते है मगर सफल कोई नहीं होता है।।
और जब तक श्रृष्टि यह समझती है तब बहुत देर हो चुकी होती है। और कहानी के अनुसार सार नाम नायिकाएं ही नहीं सब पाना चाहते हैं मगर इसके लिए त्याग, संघर्ष, पीड़ा और ठोकर कोई नहीं खाना चाहता इसलिए भी यह गाथा पूर्ण नहीं हो रही क्योंकि समर्पण प्राप्त नहीं हो रहा है और समय चलता जा रहा है और कालचक्र भी प्रभावित नहीं हो रहा है।। नाम देना सही है या गलत यह तो कहना ज़रा भी मुश्किल नहीं होगा यह पंक्ति दोनो जाति के कही है।। क्यों कहा गया होगा आइए जानते हैं -नाम दिया जाता है या कमाया जाता है।।
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