दुनिया
ये दुनिया क्यूं बनाई है,समझ नहीं आता,बार बार जन्म लेना ,कर्मों के हिसाब से जन्म,ईश्वर को क्या मिलता है इससे,जो दुख मिले उसे और सुख मिले उसे भी भोगना ही है,लेकिन कोई फर्क भी पड़ता है उसे इस बात का किसी के आंसुओं का,किसी के दर्द का,मुझे तो...