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शिक्षक दिवस..
किसी भी व्यक्तित्व की संरचना में गुरु का बहुत बड़ा योगदान होता है l इसीलिए गुरु को सर्वोच्च स्थान दिया जाता है l गुरु, जो हमारा ज्ञान की विविधताओं से परिचय करा कर, जीवन शैली की गूढता और उसके नियमों के साथ अन्य कई विधाओं में पारंगत करने में हमारे मार्गदर्शक होते है l
यदि गुरु की महत्ता के विषय में बात करूँ, तो सर्वप्रथम स्थान तो माता का ही आता है l प्रथम शब्द के साथ साथ वार्तालाप, शिष्टाचार,संघर्ष, और कई नियमों की नींव तो उन्ही के द्वारा रखी जाती है l उनके साथ ही पिता की परोक्ष रूप से दी जाने वाली शिक्षाओं का महत्व हमें जीवन में कुछ देर से समझ में आता है, परंतु वो हमारे व्यक्तित्व को एक अलग ही पहचान देते है l
बहन और भाई को भी आप अनदेखा ना करे, जाने अनजाने किसी ना किसी रूप में हमें वो हमारी गलतियों को सुधार कर, कुछ ना कुछ नया सिखाते रहते है l
इसी प्रकार दोस्त, हमारे आस पास का परिवेश, यहाँ तक कि प्रकृति भी हमें ज्ञान की बूँदों से जब तब भीगोती रहती है l
कहने का तात्पर्य यह है कि एक बंधी बंधायी परंपरा के अंतर्गत किसी भी विशेष दिन को सीमित ना करे l
आज का दिन शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता है l यकीनन शिक्षक का हमारे जीवन में बहुत महत्व है l हमारे चरित्र एवम ज्ञान के निर्माण में उनके द्वारा किये गए निस्वार्थ प्रयास एवम त्याग के तो हम सदा ऋणी रहेंगे l
किंतु हम बाकी सब के प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से किये गए योगदान को भी अनदेखा नही कर सकते है l तो हमारा उन सभी को भी सादर नमन , जिन्होंने हमें किसी ना किसी रूप में कुछ ना कुछ सीख, चाहे जाने अनजाने ही दी हो या हमारे शुभचिंतक होने के नाते हमें जीवन की अनंतता को समझने में सहायता की हो....🙏🙏
हम जीवन पर्यन्त शिक्षार्थी होते है और त्रुटियों को सुधारते रहने का स्वभाव स्वयम को निखारने में सहायक होता है l
तो यदि कोई त्रुटि हो तो उस के लिए क्षमा 🙏🏻🙏🏻 ...


© * नैna *