"विचार की महत्वपूर्ण कहानी"
#कालीकुर्सी
वास्तविक मूल्य किसी चीज के आकार या कीमत में नहीं, बल्कि हमारी आदतों, आवश्यकताओं और दृष्टिकोणों में छिपा होता है। हमें बाजार के बाजारूपन में नहीं पड़ते हुए , केवल जरूरत अनुसार ही चीजे खरीदनी चाहिए। इससे मन संतुष्ठ रहता है, फिजूलखर्च की आदत भी सुधरने लगती है और बाद में पचतावा नहीं होता। इसी उद्देश्य पर आधारित है आज की यह कहानी।
पुराने बजार...
वास्तविक मूल्य किसी चीज के आकार या कीमत में नहीं, बल्कि हमारी आदतों, आवश्यकताओं और दृष्टिकोणों में छिपा होता है। हमें बाजार के बाजारूपन में नहीं पड़ते हुए , केवल जरूरत अनुसार ही चीजे खरीदनी चाहिए। इससे मन संतुष्ठ रहता है, फिजूलखर्च की आदत भी सुधरने लगती है और बाद में पचतावा नहीं होता। इसी उद्देश्य पर आधारित है आज की यह कहानी।
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