जमीन (भाग -२-)
गतांक से आगे........
आज सोमवार था। सारिका कार्यालय पहुंच गयी थी। 11बज चुके थे।आज सारिका का मन कार्यालय में न लग रहा था। रह रहकर उसको अपने पापा की याद आ रही थी।इन यादों में वह खोई हुई थी कि मोबाइल बजने लगा।
हैलो,सारिका ने कहा।
हैलो,मैं हरदयाल बोल रहा हूं।बेटा,आपने जमीन के बारे में कुछ पता किया। उन्होंने पूछा।
ताऊजी, आप इसके लिए आवेदन कर दें और इसके लिए आवश्यक संबंधित कागज अवश्य लगा दें। सारिका ने कहा।
ठीक है बेटा,मैं कल ही सारे कागजात के साथ कार्यालय में आकर आवेदन कर दूंगा।ताऊ जी ने कहा और अगले दिनआवेदन कर दिया।
कार्यालय में जब फाइल सारिका के पास पहुंची तो उसने तहसीलदार से अपनी रिपोर्ट देने के लिए लिख दिया। तहसीलदार ने अपने
नायब तहसीलदार के माध्यम से पटवारी से संबंधित कागजात के आधार पर अपनी रिपोर्ट...
आज सोमवार था। सारिका कार्यालय पहुंच गयी थी। 11बज चुके थे।आज सारिका का मन कार्यालय में न लग रहा था। रह रहकर उसको अपने पापा की याद आ रही थी।इन यादों में वह खोई हुई थी कि मोबाइल बजने लगा।
हैलो,सारिका ने कहा।
हैलो,मैं हरदयाल बोल रहा हूं।बेटा,आपने जमीन के बारे में कुछ पता किया। उन्होंने पूछा।
ताऊजी, आप इसके लिए आवेदन कर दें और इसके लिए आवश्यक संबंधित कागज अवश्य लगा दें। सारिका ने कहा।
ठीक है बेटा,मैं कल ही सारे कागजात के साथ कार्यालय में आकर आवेदन कर दूंगा।ताऊ जी ने कहा और अगले दिनआवेदन कर दिया।
कार्यालय में जब फाइल सारिका के पास पहुंची तो उसने तहसीलदार से अपनी रिपोर्ट देने के लिए लिख दिया। तहसीलदार ने अपने
नायब तहसीलदार के माध्यम से पटवारी से संबंधित कागजात के आधार पर अपनी रिपोर्ट...