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हे!जीवन तो मत मचल
हे जीवन तो मत मचल, एक यात्रा है सुख-दुःख की,
रात के अंधेरे से, सवेरे की किरण तक की।
सिर्फ ना देख अंधकार, रौशनी की ओर बढ़,
बदले रंग खुद को, सपनों को हकीकत में बदल।
समझे जीवन की गहराईयों में छुपी राज़,
हर मुश्किल को आत्मविश्वास से हल कर तू।
बहा दे दरिया अपने सपनों का बनाया,
हे जीवन तो मत मचल, खुद को पहचान बनाया।
©Vashu
रात के अंधेरे से, सवेरे की किरण तक की।
सिर्फ ना देख अंधकार, रौशनी की ओर बढ़,
बदले रंग खुद को, सपनों को हकीकत में बदल।
समझे जीवन की गहराईयों में छुपी राज़,
हर मुश्किल को आत्मविश्वास से हल कर तू।
बहा दे दरिया अपने सपनों का बनाया,
हे जीवन तो मत मचल, खुद को पहचान बनाया।
©Vashu
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