...

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'तो क्यों न प्यार दूँ'
'ये जिंदगी'
उलझाती है बार बार मुझे
तो सुलझाना छोड दूँ,क्या
रुलाती है बार बार मुझे
तो हंसना छोड दूँ ,क्या
गिराती है बार बार मुझे
तो चलना छोड दूँ ,क्या
रूठती है बार बार मुझसे
तो मनाना छोड दूँ, क्या
जीना भी तो सिखाती है
हाँ, जीना सिखाती है मुझे
तो क्यों न प्यार दूँ तुझे
'ऐ जिंदगी' क्यों न प्यार दूँ
© #vineeta