तन्हा रातों में
तन्हा रातों में अक्सर बस यूँ ही,
हम और ये तन्हाई थाम कर चांद का हाथ..
उसकी मद्धिम रोशनी के साए तले,
उसकी चांदनी में नहाए कुछ भीगे से जज़्बात..
हाँ वही...
हम और ये तन्हाई थाम कर चांद का हाथ..
उसकी मद्धिम रोशनी के साए तले,
उसकी चांदनी में नहाए कुछ भीगे से जज़्बात..
हाँ वही...