दिल और दिल की धड़कन भी तू
शब्दों के अलंकार निःशब्द हो जाते हैं तुम्हारे बिना
दिल की धड़कन का धड़कना बन्द है तुम्हारे बिना
क्या इतना प्यार कर पाऊँगा.....
तुम्हें निहारूं नहीं दिन भी काली रात...
दिल की धड़कन का धड़कना बन्द है तुम्हारे बिना
क्या इतना प्यार कर पाऊँगा.....
तुम्हें निहारूं नहीं दिन भी काली रात...