zindagi..:)
आइने में जब ख़ुद को देखती हूं आज तो तरस आता है ख़ुद पर, कि जो मोहब्बत लोगों को जीना हंसना खुश रहना सिखाती हैं, पता नहीं मुझे क्यूं ख़ामोश कर गई...
महज़ ये सिर्फ़ जरुरी तो नहीं कि कोई हमेशा वैसा ही रहे जैसे पहली मुलाकात पर था, पर फिर...
महज़ ये सिर्फ़ जरुरी तो नहीं कि कोई हमेशा वैसा ही रहे जैसे पहली मुलाकात पर था, पर फिर...