"मिडिल क्लास "
*"मिडिल-क्लास" का होना भी,*
*किसी वरदान से कम नहीं है...,*
*कभी बोरियत नहीं होती...,*
*जिंदगी भर कुछ ना कुछ आफत,*
*लगी ही रहती है...,*
*न इन्हें तैमूर जैसा बचपन नसीब होता है...*
*न अनूप जलोटा जैसा बुढ़ापा, फिर भी,*
*अपने आप में उलझते हुए,*
*व्यस्त रहते हैं...!*
★
*मिडिल क्लास होने का भी,*
*अपना फायदा है...*
*चाहे BMW का भाव बढ़े या AUDI का,*
*या फिर नया i phone लाँच हो जाये,*
*कोई फर्क नहीं पड़ता...!*
★
*मिडिल क्लास लोगों की,*
*आधी जिंदगी तो ... झड़ते हुए बाल,*
*और बढ़ते हुए पेट को रोकने में ही,*
*चली जाती है...!*
*मिडिल क्लास लोगों की,*
*आधी ज़िन्दगी तो,*
*"बहुत महँगा है" बोलने में ही,*
*निकल जाती है...!*
*इनकी "भूख" भी...*
*होटल के रेट्स पर डिपेंड करती है...*
*दरअसल महंगे होटलों की,*
*मेन्यू-बुक में मिडिल क्लास इंसान,*
*'फूड-आइटम्स' नहीं बल्कि,*
*अपनी "औकात" ढूंढ रहा होता है...!*
★
*इनके जीवन में कोई वैलेंटाइन नहीं होता...,*
*"जिम्मेदारियाँ" जिंदगी भर*
*परछाईं की तरह पीछे लगी रहती हैं...!*
*मध्यम वर्गीय...
*किसी वरदान से कम नहीं है...,*
*कभी बोरियत नहीं होती...,*
*जिंदगी भर कुछ ना कुछ आफत,*
*लगी ही रहती है...,*
*न इन्हें तैमूर जैसा बचपन नसीब होता है...*
*न अनूप जलोटा जैसा बुढ़ापा, फिर भी,*
*अपने आप में उलझते हुए,*
*व्यस्त रहते हैं...!*
★
*मिडिल क्लास होने का भी,*
*अपना फायदा है...*
*चाहे BMW का भाव बढ़े या AUDI का,*
*या फिर नया i phone लाँच हो जाये,*
*कोई फर्क नहीं पड़ता...!*
★
*मिडिल क्लास लोगों की,*
*आधी जिंदगी तो ... झड़ते हुए बाल,*
*और बढ़ते हुए पेट को रोकने में ही,*
*चली जाती है...!*
*मिडिल क्लास लोगों की,*
*आधी ज़िन्दगी तो,*
*"बहुत महँगा है" बोलने में ही,*
*निकल जाती है...!*
*इनकी "भूख" भी...*
*होटल के रेट्स पर डिपेंड करती है...*
*दरअसल महंगे होटलों की,*
*मेन्यू-बुक में मिडिल क्लास इंसान,*
*'फूड-आइटम्स' नहीं बल्कि,*
*अपनी "औकात" ढूंढ रहा होता है...!*
★
*इनके जीवन में कोई वैलेंटाइन नहीं होता...,*
*"जिम्मेदारियाँ" जिंदगी भर*
*परछाईं की तरह पीछे लगी रहती हैं...!*
*मध्यम वर्गीय...