...

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हृदय की चिंगारी
हमारे दिल की चिंगारी भड़क जाए अगर समझो,
ये जल जायेगी महफ़िल कड़क जाये अगर समझो,

ये तुम सोच न पाओगे कि तुम कर सकोगे क्या,
कि दिल की इन दिवारों में मोहब्बत है अगर समझो,
~
मोहब्बत की कशिश थी जो तुमसे दिल लगाया था,
हृदय की पवित्र मंदिर का खुदा तुमको बनाया था,

तुझे क्यों रास ना आयी मोहब्बत पाक थी मेरी,
मोहब्बत की मोती से इसे हमने सजाया था I

Note : Inspired by Kumar Vishwas.

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