...

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यादें
सुबह की किरण और याद तुम्हारी
साँझ की वेला मेें भी 'बात' तुम्हारी

आती याद हँसा जाती है यूँ तुम्हारी
जाती याद रुला जाती है यूँ तुम्हारी

नयनों की अभिराम झाँकी याद है
इस दिल को तड़पाती तेरी याद है

बाकी रहा ना कुछ दरमियाँ इश्क़
रह गुजरी साँसों का सहारा याद है

जिस्म से जान जुदा हो गई है मेरी
अब रूह की पहचान बस 'याद' है
© कृष्णा'प्रेम'