दगा तो ना दोगे...
निगाहों से मेरी मिला कर निगाहें,
कहीं चैन मेरा चुरा तो ना लोगे !
मोहब्बत की दिल में जलाई शमा जो,
कहीं उस शमा को बुझा तो ना दोगे !
चला मैं बहुत हूँ तेरी इश्क़-ए-राह में,
मिले छांव मुझको ज़रा मैं ठहर लू,
बता दो मुझे तुम...
कहीं चैन मेरा चुरा तो ना लोगे !
मोहब्बत की दिल में जलाई शमा जो,
कहीं उस शमा को बुझा तो ना दोगे !
चला मैं बहुत हूँ तेरी इश्क़-ए-राह में,
मिले छांव मुझको ज़रा मैं ठहर लू,
बता दो मुझे तुम...