अनसुनी,अनकहि,अधूरी सी बाते
एक तु थी तो कमी का एहसास ही नही था,, आज तु नही है सिर्फ तेरी यादॆ है.. जो हर पल रुलाती है ओर रोने तक सीमित नहीं रहती, जब हम रोते है तो ओर याद आती कि रोते हुए तेरा मनाना,
*आज मैं तो चुप हु, पर दिल बोलता...
*आज मैं तो चुप हु, पर दिल बोलता...