मानवता दिखा...
हे मानव!भीतर अपने,
दरिंदगी न जगा ।
जीवन सबका
तू अपनी अमानवता ना दिखा।
आगाज़ है, अंदाज़ है, ...
दरिंदगी न जगा ।
जीवन सबका
तू अपनी अमानवता ना दिखा।
आगाज़ है, अंदाज़ है, ...