क्या करोगे दास्ताँ सुनकर ....✍️
टूटे हुये सपनों और रूठे हुये
अपनों ने उदास कर दिया,
वरना लोग हमसे मुस्कराने का
राज पूछा करते थे।
माना कि गलत हम ही थे...
अपनों ने उदास कर दिया,
वरना लोग हमसे मुस्कराने का
राज पूछा करते थे।
माना कि गलत हम ही थे...